रविवार, 14 फ़रवरी 2021
तिनकों का सौंदर्य
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हम विकसित हैं तो नजर क्यों नहीं आते
पता नहीं इस पर शर्म आनी चाहिए या गर्व...क्योंकि इतनी खूबसूरत प्रकृति में जब हमें सही तरीके से जीते ही नहीं आया, समझ ही नहीं आया तब हम उसका श...
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सुबह कभी खेत में फसल के बीच क्यारियों में देखता हूँ तो तुम्हारी बातों के सौंधेपन के साथ जिंदगी का हरापन भी नज़र आ ही जाता है...। सोचता हूँ मु...
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फ्रांस का अध्ययन है कि 2000 से 2020 के बीच ग्लेशियर के मेल्ट होने की स्पीड दोगुनी हो चुकी है ये उनका अपना अध्ययन है, क्या करेंगे ग्लेशियर। स...
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लघुकथा अक्सर होता ये था कि पूरे साल में गर्मी का मौसम कब बीत जाता था पता ही नहीं चलता था क्योंकि घर के सामने रास्ते के दूसरी ओर नीम का घना व...
अति तार्किक एवं भावपूर्ण रचना..
जवाब देंहटाएंजी आभार आपका...
हटाएंसारगर्भित प्रश्न तिनकों से जोड़कर उठाया है आपने..अनोखी सोच के साथ सुन्दर सृजन..
जवाब देंहटाएंजी बहुत आभार जिज्ञासा जी...।
हटाएंआपकी लिखी रचना "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" आज सोमवार 15 फरवरी 2021 को साझा की गई है......... "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" पर आप भी आइएगा....धन्यवाद!
जवाब देंहटाएंबहुत आभार यशोदा जी...।
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